शेयर बाजार की मूल बातें

एसएंडपी 500

एसएंडपी 500

मजबूती के साथ खुला शेयर बाजार, सेंसेक्स में 117 अंकों की तेजी, निफ्टी 41 अंक उछला

लगातार तीसरे दिन शेयर बाजार में रौनक, सेंसेक्स 332 अंक चढ़ा, भारती एयरटेल टॉप गेनर

LagatarDesk : ग्लोबल मार्केट से मिले मजबूत संकेतों से घरेलू शेयर बाजार आज तेजी के साथ खुला है. सप्ताह के दूसरे कारोबारी दिन सेंसेक्स और निफ्टी दोनों इंडेक्स हरे निशान पर नजर आ रहे हैं. सेंसेक्स 62600 और निफ्टी 16600 के पार ट्रेड कर रहा है. सेंसेक्स 117.84 अंक उछलकर 62622.6 के लेवल पर शुरू हुआ है. वहीं निफ्टी 41.15 अंक मजबूत होकर 18603.9 के स्तर पर खुला है. बैंक निफ्टी भी 43100 के पार ट्रेड कर रहा है. (पढ़ें, गैंगस्टर्स -टेरर फंडिंग मामला : NIA का बड़ा एक्शन, दिल्ली-NCR, राजस्थान, हरियाणा, पंजाब समेत 20 जगहों पर छापेमारी)

मारुति सुजुकी के शेयर 0.87 फीसदी लुढ़के

आज के कारोबार में 30 शेयरों वाले सेंसेक्स के 23 शेयर हरे निशान पर नजर आ रहे हैं. जबकि 7 शेयर लाल निशान पर ट्रेड कर रहे हैं. बीएसई सेंसेक्स में लिस्टेड मारुति सुजुकी के शेयरों में सबसे अधिक 0.87 फीसदी की गिरावट नजर आ रही है. वहीं टाइटन कंपनी के शेयरों में सबसे अधिक 0.81 फीसदी की बढ़त देखी जा रही है. आज के टॉप गेनर की लिस्ट में टाइटन कंपनी, महिंद्रा एंड महिंद्रा, डॉ रेड्डीज लैब्स, आईसीआईसीआई बैंक और सनफार्मा के शेयर शामिल हैं. जबकि टॉप लूजर की श्रेणी में मारुति सुजुकी, एचडीएफसी, बजाज फिनसर्व, विप्रो और एचडीएफसी बैंक के शेयर शामिल हैं.

बीएसई सेंसेक्स के इन शेयरों में गिरावट और तेजी

बीएसई सेंसेक्स में लिस्टेड नेस्ले और एनटीपीसी के शेयर लाल निशान पर कारोबार कर रहे हैं. जबकि आईटीसी, टाटा स्टील, एशियन पेंट्स, एचसीएल टेक, एक्सिस बैंक, टीसीएस, एचयूएल, टेक महिंद्रा, कोटक महिंद्रा, एसबीआई, भारती एयरटेल, अल्ट्राटेक सीमेंट, बजाज फाइनेंस, इंफोसिस, लार्सन और इंडसइंड बैंक के शेयरों में तेजी देखने को मिल रही है.

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डाओ जोन्स, एसएंडपी 500 और नैस्डैक में गिरावट दर्ज

ग्लोबल मार्केट की बात करें तो डाओ जोन्स 497 अंक फिसला. S&P 500 में 1.54 फीसदी और नैस्डैक में 1.58 फीसदी की गिरावट दर्ज की गयी. डाओ जोन्स में गिरावट के दो प्रमुख कारण हैं. पहला कारण है कि अमेरिकी फेडरल रिजर्व के प्रेसिडेंट जिम बुलार्ड ने कहा कि अभी इंटरेस्ट रेट को लेकर रुख सख्त ही एसएंडपी 500 रहेगा. इसके अलावा चीन में कोरोना लॉकडाउन का विरोध तेज हो गया है. वहां के लोग सरकार के खिलाफ सड़कों पर उतर गये हैं और यह तेजी से बढ़ रहा है. इससे ग्लोबल मंदी की आहट मजबूत हो रही है.

अमेरिकी शेयर बाजारों में तेज गिरावट, डाओ करीब 2 प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद

मंगलवार के कारोबार में डाओजोंस 1.8 प्रतिशत यानि 614 अंक की गिरावट के साथ बंद हुआ। वहीं एसएंडपी 500 में 1.7 प्रतिशत और नैस्डैक में 2.2 प्रतिशत की गिरावट दर्ज हुई।

अमेरिकी शेयर बाजारों में तेज गिरावट, डाओ करीब 2 प्रतिशत की गिरावट के साथ बंद - India TV Hindi

Edited by: India TV Paisa Desk Sep 21, 2021 9:50 IST

नई दिल्ली। सोमवार को अमेरिकी शेयर बाजार में तेज गिरावट दर्ज हुई है। चीन की रियल एस्टेट कंपनी के कर्ज संकट की वजह से निवेशकों के बीच अनिश्चितता बढ़ गई है। फेडरल रिजर्व की बैठक को लेकर निवेशक पहले से ही सतर्क रुख अपना रहे हैं। सोमवार को भारतीय बाजारों में भी करीब 1 प्रतिशत की गिरावट देखने को मिली थी।

कैसे रहा अमेरिकी बाजारों में कारोबार

अमेरिकी बाजारों में सोमवार बीते कई महीनों में सबसे नुकसान का सत्र साबित हुआ। एसएंडपी और नैस्डेक में मई के बाद की सबसे तेज गिरावट दर्ज हुई। वहीं डाओ में जुलाई के बाद सबसे ज्यादा नुकसान देखने को मिला। मंगलवार के कारोबार में डाओजोंस 1.8 प्रतिशत यानि 614 अंक की गिरावट के साथ बंद हुआ। वहीं एसएंडपी 500 में 1.7 प्रतिशत और नैस्डैक में 2.2 प्रतिशत की गिरावट दर्ज हुई। कारोबार के दौरान बैंक और एनर्जी सेक्टर को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ। गोल्डमैन सैक्स और जेपी मॉर्गन दिन में सबसे ज्यादा नुकसान दर्ज करने वाले स्टॉक रहे। अमेरिकी सरकार ने भी बयान दिया है कि वो चीन की कंपनी की आर्थिक स्थिति पर नजर रख रहे हैं, हालांकि सरकार ने ये भी कहा है कि कंपनी का अधिकांश कारोबार चीन में ही केन्द्रित है।

क्या है गिरावट की वजह
शेयर बाजार में गिरावट की मुख्य वजह चीन की रियल एस्टेट कंपनी evergrande का कर्ज संकट है। कंपनी को 300 अरब डॉलर के कर्ज को संभालने में मुश्किल आ रही है। कंपनी को गुरुवार को मार्च 2022 के बॉन्ड के लिये 8.3 करोड़ डॉलर के ब्याज का भुगतान करना है। वहीं 29 सितंबर को मार्च 2024 के बॉन्ड पर 4.75 करोड़ डॉलर के ब्याज का भुगतान करना है। अगर कंपनी इनपर ब्याज का भुगतान दी गई तारीख के एक महीने के अंदर नहीं करती तो वो बॉन्ड के एसएंडपी 500 लिये डिफॉल्ट घोषित हो जायेगी। इससे अर्थव्यवस्था को लेकर एक नई आशंका हावी हो सकती है।

कोरोना काल एसएंडपी 500 में भी CEO की सैलरी में इजाफा, 12.7 मिलियन डॉलर रहा औसत पैकेज

2019 में सीईओ के उसी समूह के लिए औसत वेतन से पांच प्रतिशत अधिक है

एसोसिएटेड प्रेस के लिए इक्विलर द्वारा विश्लेषण किए गए आंकड़ो के अनुसार, एक 500 एसएंडपी कंपनी के सीईओ के लिए औसत वेतन पै . अधिक पढ़ें

  • News18Hindi
  • Last Updated : May 29, 2021, 19:50 IST

नई दिल्ली. पिछले साल कोविड-19 (Covid-19) ने दुनियाभर में हर वर्ग को प्रभावित कर दिया था, ऐसे में बड़े सैलरी पैकेजस पर कार्यरत कंपनियों के सीईओ (CEO) के प्रभावित होने पर का भी खतरा मंडरा रहा था. लेकिन सौभाग्य से उन सीईओ के बोर्ड ऑफ डायरेक्टर ने इस महामारी को एक असाधारण घटना के तौर पर देखा जो उनके कंट्रोल से बाहर थी. इस वजह देशभर में बोर्ड ऑफ डायरेक्टर ने जटिल फॉर्मूलों में बदलाव किए जो उनके सीईओ के वेतन निर्धारित करते हैं और ऐसे स्टेप्स भी उठाए जो संकट से उत्पन्न नुकसान की भरपाई करने में मदद करती है. नतीजा यह हुआ कि सबसे बड़ी कंपनियों के सीईओ के लिए पिछले साल फिर से वेतन पैकेज बढ़े, भले ही महामारी ने अर्थव्यवस्था को सबसे खराब तिमाही के रिकॉर्ड में भेज दिया और दुनिया भर में कॉर्पोरेट मुनाफे को कम दिया.

एसोसिएटेड प्रेस के लिए इक्विलर द्वारा विश्लेषण किए गए आंकड़ो के अनुसार, एक 500 एसएंडपी कंपनी के सीईओ के लिए औसत वेतन पैकेज वर्ष 2020 में 12.7 मिलियन अमेरिकी डॉलर तक पहुंच गया. यह वर्ष 2019 में सीईओ के उसी समूह के लिए औसत वेतन से पांच प्रतिशत अधिक है और पिछले साल के सर्वेक्षण में 4.1 फीसदी की वृद्धि देखी गई थी.

इन्हें शामिल किया था गया

एपी के मुआवजे के अध्ययन में एसएंडपी 500 कंपनियों के सीईओ के वेतन डाटा शामिल था, जिन्होंने अपनी कंपनियों में कम से कम दो साल की वित्तीय सेवा पूरी की है, जिन्होंने 1 जनवरी से 30 अप्रैल के बीच प्रॉक्सी स्टेटमेंट दाखिल किया था. इनमें कुछ उच्च वेतन पाने वाले सीईओ शामिल नहीं है जो उस मानदंड को पूरा नहीं करते हैं.

इधर लाखों कर्मचारियों की नौकरियां भी गई

हालांकि इस बीच नियमित कर्मचारियों ने भी लाभ देखा, लेकिन उनके मालिकों के समान दर पर नहीं. वहीं लाखों अन्य लोगों ने तो अपनी नौकरी भी खो दी. सरकार से बाहर के सभी वर्कर्स के वेतन और लाभ में पिछले साल केवल 2.6 फीसदी की वृद्धि हुई. यह अमेरिकी सरकार के आंकड़ो के अनुसार है जो विभिन्न उद्योगों के अनुसार है जो विभिन्न उद्योगों के बीच श्रमिकों के स्थानांतरण के प्रभाव की उपेक्षा करता है. यह एक महत्वपूर्ण अंतर है क्योंकि घर से काम कर सकने वाले पेशेवरों की तुलना में अर्थव्यवस्था के बंद होने के कारण कम वेतन पाने वाले अधिक लोगों ने अपनी नौकरी खो दी.

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मोतीलाल ओसवाल ने 3 योजनाओं में SIP रोका, आपने तो नहीं किया है निवेश

अन्य म्यूचुअल फंड हाउस ने भी अपने विदेशी फंड में नए एसआईपी/एसटीपी और एकमुश्त निवेश बंद कर दिया है.

मोतीलाल ओसवाल ने 3 योजनाओं में SIP रोका, आपने तो नहीं किया है निवेश

TV9 Bharatvarsh | Edited By: संजीत कुमार

Updated on: Mar 23, 2022 | 1:17 PM

म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) में निवेश करने वालों के लिए बड़ी खबर है. मोतीलाल ओसवाल एसेट मैनेजमेंट को. लिमिटेड (Motilal Oswal Asset Management Co. Ltd) ने तीन अंतर्राष्ट्रीय योजनाओं में सिस्टमेटिक इन्वेस्टमें प्लान (SIP) को रोक दिया है. फंड हाउस ने कहा, 1 अप्रैल 2022 से एसएंडपी 500 इंडेक्स फंड (SP 500 Index Fund), एमएससीआई ईएएफई टॉप 100 सिलेक्ट इंडेक्स फंड (MSCI EAFE Top 100 Select Index Fund) और नैस्डैक 100 फंड ऑफ फंड (Nasdaq 100 Fund of Fund) में एसआई (SIP) और सिस्टमेटिक ट्रांसफर प्लान (STP) को रोक दिया गया है.

एसेट मैनेजमेंट कंपनी ने उद्योग के हिसाब से ओवरसीज इन्वेस्टमेंट एक्सपोजर पर लिमिट के कारण फैसला लिया है. फंड हाउस ने कहा, 1 अप्रैल से यह फैसला इन तीन स्कीम्स के रिडीम्पशन, स्विच आउट, सिस्टमेटिक विड्रॉल व ट्रांसफर पर लागू नहीं होगा.

31 मार्च के बाद इन स्कीम में नहीं कर पाएंगे एसआईपी

मोतीलाल ओसवाल एमएफ ने एक सर्कुलर में कहा, 31 मार्च, 2022 के कट-ऑफ समय के बाद उपरोक्त डिजाइन की गई योजनाओं में प्राप्त किसी भी मौजूदा पंजीकृत SIP / STP को स्वीकार और प्रोसेस नहीं किया जाएगा. हालांकि, मौजूदा पंजीकृत SIP / STP सिस्टम में एक्टिव रहेगा और इस संबंध में नियामकों द्वारा सीमा में वृद्धि के बारे में आगे जानकारी मिलनेके बाद फिर से एक्टिवेट हो जाएगा.

मोतीलाल ओसवाल एसएंडपी 500 इंडेक्स फंड (Motilal Oswal SP 500 Index Fund) और मोतीलाल ओसवाल नैस्डैक 100 एफओएफ (Motilal Oswal SP 500 Index Fund) भारत में सबसे बड़े विदेशी फंडों में से एक है. 28 फरवरी 2022 तक इनके पास एसेट अंडर मैनेजमेंट क्रमशः 2,631 करोड़ रुपये और 3,986 करोड़ रुपये थे. मोतीलाल ओसवाल एमएससीआई ईएएफई टॉप 100 सिलेक्ट इंडेक्स फंड (Motilal Oswal MSCI EAFE Top 100 Select Index Fund) एक अपेक्षाकृत नई योजना है जिसकी संपत्ति 41 करोड़ रुपये है.

1 अरब डॉलर से ज्यादा नहीं कर सकते निवेश

भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (Sebi) ने जनवरी में ओवरसीज सिक्योरिटीज में निवेश करने वाले म्यूचुअल फंडों को विदेशी शेयरों में और निवेश रोकने की सलाह दी थी ताकि उद्योग के आधार पर विदेशी सीमाओं के उल्लंघन से बचा जा सके.

3 जून 2021 के सेबी के एक सर्कुलर के मुताबिक, म्यूचुअल फंड्स 7 अरब डॉलर की कुल सीमा के साथ प्रत्येक म्यूचुअल फंड्स 1 अरब डॉलर तक का विदेशी निवेश कर सकते हैं. हालांकि इस सीमा को अस्थायी तौर पर निलंबति किया जा सकता है और नियामक द्वारा सीमा बढ़ाए जाने के बाद इसे रद्द किया जा सकता है.

अन्य म्यूचुअल फंड हाउस ने भी अपने विदेशी फंड में नए एसआईपी/एसटीपी और एकमुश्त निवेश बंद कर दिया है.

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