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ADR क्या है

ADR क्या है

15+ ADR Full Form in Hindi | ADR का फुल फॉर्म क्या है?

ADR Full Form in Hindi: यहाँ पर हमने आपसे ADR का Full Form क्या होता है उस के सन्दर्भ में हिंदी में जानकारी दी है| यहाँ ADR के 15+ से भी अधिक फुल फॉर्म जो की विभिन्न केटेगरी से सम्बन्ध रखते है उसकी जानकारी दी है|

ADR: Advanced Digital Recording

Advanced Digital Recording (एडीआर) 1998 से 2003 तक ऑनस्ट्रीम द्वारा विकसित एक चुंबकीय टेप डेटा भंडारण प्रारूप है। एडीआर एक 8 ट्रैक, रैखिक ADR क्या है टेप प्रारूप है।

यहाँ पर हमने ADR के कुछ अन्य फुल फॉर्म दिए है जो विभिन्न केटेगरी से जुड़े हुए है| यहाँ ADR क्या है हम ADR के फुल फॉर्म banking, Electronics, Accounts and Finance जैसे विभिन्न केटेगरी में देंगे|

ADR full form in Electronics

AcronymsFull Form of ADR
ADRAudio Digital Recording
ADRAdvanced Digital Recorder
ADRAperture Direct Readout
ADRAutomatic Dialog Recording
ADRAudio Dialog Replacement

ADR full form in Accounts and Finance

AcronymsFull-Form of ADR
ADRAmerican Depositary Receipt
ADRAccounting Department Revenue
ADRAverage Daily Rate
ADRAsset Depreciation Range
ADRAsset Development Reserve

ADR full form in Software and Technology

AcronymsFull-Form of ADR
ADRAdvanced Digital Recording
ADRAfterdark Randomizer Screensaver
ADRAustralian Design Rules

ADR full form in Military and Defence

AcronymsFull-Form of ADR
ADRArmament Delivery Recording
ADRAircraft Damage Repair
ADRAutomatic Data Relay

Other Full Form of ADR

AcronymsFull-Form of ADR
ADRAsymmetrical Double Rectangle
ADRAnnual Dividend Ratio
ADRAin’t Doing Right
ADRAdditional Dialog Recording
ADRAutomatic Device Replacement
ADRAny Day Really
ADRMANDI ADAMPUR

यहाँ पर हमने आपसे ADR के फुल फॉर्म के(ADR Full Form) बारे में जानकारी दी है| आगे भी इस लेख को और भी सुधारने और नए फुल फॉर्म को जोड़ने का काम किया जाएगा| अगर आप इसके अलावा और कोई फुल फॉर्म जानते है तो हमें कमेंट कर अवश्य बताये| हमें लेख ADR क्या है में जोड़ने में खूशी होगी|

ADR Full Form In Hindi – ADR का फुल फॉर्म क्या है?

ADR: American Depository Receipt (अमेरिकी डिपॉजिटरी रसीद)

ADR Full Form In Hindi, ADR Ka Full Form Kya Hai & ADR Kya Hai:- ADR का फुल फॉर्म American Depository Receipt है। ADR का मतलब अमेरिकन डिपॉजिटरी रसीद है। इस शब्द का प्रयोग शेयर बाजारों के संदर्भ में किया जाता है। यह एक रसीद या प्रमाण पत्र है जो एक विदेशी स्टॉक के शेयरों का प्रतिनिधित्व करता है। यह एक अमेरिकी बैंक द्वारा उस व्यक्ति को जारी किया जाता है जो यूएस स्टॉक एक्सचेंज के माध्यम से किसी विदेशी स्टॉक या गैर-अमेरिकी कंपनी के शेयर खरीदने में रुचि रखता है। ADR को 1927 में अमेरिकी निवेशकों को विदेशी कंपनियों के शेयरों को खरीदने का एक आसान तरीका प्रदान करने के लिए पेश किया गया था।

ADR (एडीआर) जारी किया जाता है और अमेरिकी डॉलर में लाभांश का भुगतान करता है जो घरेलू निवेशकों को मुद्रा रूपांतरण की परेशानी के बिना किसी विदेशी कंपनी के शेयर रखने की अनुमति देता है। यह अमेरिकी स्टॉक एक्सचेंजों पर व्यापार करके विदेशी कंपनियों को अमेरिकी निवेशकों को आकर्षित करने में भी मदद करता है। ADR (एडीआर) द्वारा दर्शाए गए शेयरों को अमेरिकी डिपॉजिटरी शेयर (एडीएस) कहा जाता है।

ADR KAISE KAM KARTA HAIHow does it work ADR In Hindi (ADR कैसे काम करता है?)

(ADR) एडीआर अमेरिकी बैंक के स्वामित्व वाली और जारी की गई विदेशी कंपनी के शेयर होते हैं। अमेरिकी बैंक एक विदेशी कंपनी के शेयर खरीदते हैं और फिर इन शेयरों को यूएस (NYSE, NASDAQ और AMEX) के स्टॉक एक्सचेंजों पर ADRs के रूप में बेचते हैं। प्रत्येक रसीद में एक विदेशी निगम में एक निश्चित संख्या में अंतर्निहित शेयर (एक या अधिक) होते हैं। जो निवेशक किसी विदेशी कंपनी के शेयर खरीदना चाहते हैं वे इन रसीदों को खरीद सकते हैं। तो, ADR (एडीआर) का कारोबार शेयरों की तरह ही किया जाता है जिसे यूएस के स्टॉक एक्सचेंजों के माध्यम से खरीदा जा सकता है

ADR क्या है

अगर आप स्टॉक एक्सचेंज पर नजर रखते हैं तो मुमकिन है कि ADR, GDR और IDR जैसे शब्दों से वाकिफ हों, लेकिन भारत में बड़ी संख्या ऐसे लोगों की है, जो स्टॉक मार्केट में पैसे लगाने के बाद भी इन जैसे शब्दों के मतलब से अनजान हैं. ADR और GDR का मतलब क्या है? यह IDR से किस तरह अलग हैं? बहुराष्ट्रीय कंपनियां पूंजी जुटाने के लिए किस तरह इनका इस्तेमाल करती हैं? यहां हम इन्हीं सवालों के जवाब देने की कोशिश कर रहे हैंः

कॉरपोरेट जगत में पूंजी जुटाने के लिए अलग-अलग तरीके अपनाए जाते हैं. ऐसा ही एक प्रचलित तरीका है ‘डिपॉजिटरी रिसीट’ जिनके जरिए बहुराष्ट्रीय कंपनियां देश के बाहर से विदेशी मुद्रा में वित्तीय संसाधन जुटाती हैं.

Alternative Dispute Redressal (ADR)

मुख्य पृष्ठ

आप बैंगलोर मध्यस्थता केन्द्र के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। मध्यस्थता, मध्यस्थता के लाभ, मध्यस्थता की प्रक्रिया, मध्यस्थता की अवधि, अधिवक्ताओं के लिए लाभ, शासी निकाय और साप्ताहित मुक़दमे इत्यादि के बारे में जानकारी प्रदान की गई है।

केरल राज्य मध्यस्थता एवं सुलह केन्द्र

केरल राज्य के मध्यस्थता एवं सुलह केन्द्र से संबंधित जानकारी उपलब्ध कराई गई है। उपयोगकर्ता मध्यस्थता, मध्यस्थता एवं सुलह परियोजना समिति (एमसीपीसी ), शासी निकाय, मध्यस्थता कार्यवाही, और मध्यस्थों के पैनल से संबंधित अधिनियम और नियम उपलब्ध कराए गए हैं।

ओडिशा प्रशासनिक अधिकरण की वेबसाइट

ओडिशा प्रशासनिक अधिकरण को राज्य सरकार कर्मचारियों के सेवा मामलों से संबंधित शिकायतों के त्वरित निपटारे के लिए स्थापित किया गया था। अधिकरण, उसके अधिकार क्षेत्र, कार्यों, सदस्यों, संगठनात्मक ढांचे आदि की जानकारी प्रदान की गई है। उपयोगकर्ता वाद सूचियों के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। संबंधित अधिनियम और नियम भी उपलब्ध कराए गए हैं।

आंध्र प्रदेश प्रशासनिक ट्रिब्यूनल पर जानकारी

आंध्र प्रदेश प्रशासनिक न्यायाधिकरण के बारे में जानकारी प्राप्त करें। उपयोगकर्ता अध्यक्ष, उपाध्यक्ष और अधिकरण के सदस्यों के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। कार्य के नियमों, प्रक्रिया नियमों और अदालत की ADR क्या है कार्यवाही की अवमानना आदि से संबंधित जानकारी प्रदान की गई है। मुकदमों और वाद सूचियों से संबंधित जानकारी प्राप्त करने के लिए लिंक दिए गए हैं। न्यायाधिकरण में रिक्त पदों से संबंधित अधिसूचना भी.

दिल्ली मध्यस्थता केंद्र पर जानकारी

दिल्ली मध्यस्थता केंद्र के बारे में जानकारी प्राप्त करें। मध्यस्थता के लाभ, मध्यस्थ की योग्यता, मध्यस्थता के लिए उपयुक्त मुक़दमे और मध्यस्थता की गतिविधियां इत्यादि के बारे में जानकारी प्रदान की गई है। दिल्ली उच्च न्यायालय और दिल्ली जिला अदालतों के लिंक भी उपलब्ध कराए गए हैं। सांख्यिकीय रिपोर्ट, मध्यस्थों का नाम, स्थान, मध्यस्थता के माध्यम से विवाद के निपटारे हेतु नियम, मध्यस्थता के संदर्भ.

पश्चिम बंगाल कराधान न्यायाधिकरण की वेबसाइट देखें

पश्चिम बंगाल कराधान न्यायाधिकरण का गठन करों के मूल्यांकन, अर्थदण्ड के अधिरोपण एवं राज्य अधिनियम के अंतर्गत इससे संबद्ध अन्य मामलों से संबंधित विवादों को तेजी से निपटाने के उद्देश्य से किया गया है। आप न्यायाधिकरण एवं इसके कार्यों के बारे में जानकारी यहाँ से प्राप्त कर सकते हैं। इसके नियमों व विनियमों, अधिनियमों, आदेशों, निर्णयों, वाद सूचियों इत्यादि की जानकारी यहाँ दी गई है। मुकदमा दायर करने की.

अंतर्राष्ट्रीय वैकल्पिक विवाद समाधान केंद्र की वेबसाइट

अंतर्राष्ट्रीय वैकल्पिक विवाद समाधान केंद्र (आईसीएडीआर) वैकल्पिक ADR क्या है विवाद समाधान (एडीआर) की सुविधा प्रदान करता है और विवादों के शीघ्र समाधान के लिए तकनीक के संवर्धन और विकास के लिए कार्य करता है। अंतरराष्ट्रीय सम्मेलनों, कार्यशालाओं,संघोष्ठियों, सेवाओं, प्रक्रियाओं और प्रशिक्षण कार्यक्रमों के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान की गई है। उपयोगकर्ता विवरणिका, वार्षिक रिपोर्ट, व्यक्तिगत और संस्थागत.

बौद्धिक संपदा अपीलीय बोर्ड की वेबसाइट देखें

बौद्धिक संपदा अपीलीय बोर्ड (आईपीएबी) के अधिकार के ADR क्या है अंतर्गत ट्रेडमार्क, पेटेंट और भौगोलिक संकेत शामिल हैं। आप बोर्ड के नियमों, अधिकार क्षेत्र, आदेशों इत्यादि के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। आप बोर्ड की वाद सूचियाँ भी प्राप्त कर सकते हैं।

मध्य प्रदेश में उपभोक्ता संरक्षण पर जानकारी

मध्य प्रदेश के नागरिक आपूर्ति और उपभोक्ता संरक्षण खाद्य निदेशालय द्वारा उपभोक्ता संरक्षण के बारे में विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई गई है। उपभोक्ता संरक्षण, संबंधित अधिनियम, शिकायत दर्ज करने के लिए प्रक्रिया, शिकायत करने की सीमा, प्रपत्र आदि भी यहाँ से प्राप्त किये जा सकते हैं।

पंजाब राज्य महिला आयोग पर जानकारी

पंजाब का राज्य महिला आयोग राज्य में महिलाओं से सम्बंधित मुद्दों को देखने के लिए पंजाब राज्य महिला आयोग अधिनियम के तहत गठित किया गया है। आयोग के संगठनात्मक ढांचे, कार्यों, बुनियादी आंकड़ों,शक्तियो के बारे में जानकारी उपलब्ध कराई गई है। कल्याणकारी योजनाओं, महिलाओं के लिए प्रशिक्षण अभिविन्यास कार्यक्रम और कानूनों के बारे में जानकारी प्राप्त की जा सकती ADR क्या है है।

चंडीगढ़ के ऋण वसूली न्यायाधिकरण-II की वेबसाइट

भारत सरकार द्वारा ऋण वसूली न्यायाधिकरण संसद अधिनियम (1993 के अधिनियम 51) के अंतर्गत न्याय के शीघ्र निर्णयन और बैंकों और वित्तीय संस्थानों की वजह से ऋण की वसूली के लिए स्थापित किया गया है। उपयोगकर्ता न्यायाधिकरण, इसके कार्यों, अधिकारिता आदि के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। आप इसकी वाद सूची भी देख सकते हैं। अधिनियमों और नियमों के बारे में भी जानकारी प्रदान की गई है।

तमिलनाडु राज्य मानवाधिकार आयोग के नियम

तमिलनाडु राज्य के वर्ष 2005 के मानवाधिकार आयोग सेवा नियमों की विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराई गई है। मानव अधिकार नियमों के विभिन्न प्रावधानों से संबंधित विस्तृत जानकारी भी प्रदान की गई है। उपयोगकर्ता संरचना और सेवाओं की शर्तों से संबंधित विस्तृत जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।

रेल दावा न्यायाधिकरण की वेबसाइट

रेल दावा न्यायाधिकरण रेल प्रशासन के विरूद्ध हानि, नष्ट, क्षति, गिरावट और सामान का वितरण न होने पर और रेल दुर्घटना में किसी यात्री के घायल होने या नुकसान या मृत्यु होने से सम्बंधित किये गए दावों का निर्धारण करता है। प्रयोक्‍ता न्यायाधिकरण की वाद सूची, मुक़दमे की स्थिति, फैसले और दैनिक आदेश प्राप्त कर सकते हैं। अधिनियमों, आरसीटी (प्रक्रिया) नियमों, रेलवे अधिनियम, प्रावधानों और प्रमुख परिपत्रों से.

आयकर निपटान आयोग की वेबसाइट देखें

आप आयकर निपटान आयोग के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। आयोग और न्यायपीठ के बारे में जानकारी प्रदान की गई है। संबंधित अधिनियमों और नियमों के बारे में जानकारी दी गई है। आप मुक़दमे से संबंधित कानूनों, वाद सूचियों, क्षेत्राधिकार, प्रपत्र इत्यादि के बारे में जानकारी प्राप्त कर सकते हैं। मुकदमा दर्ज करने के लिए और न्यायालय की प्रक्रिया के बारे में जानकारी दी गई है।

एडीआर और जीडीआर के बारे में वह सब ADR क्या है कुछ, जो आप जानना चाहते हैं

हरिकिशन शर्मा, नई दिल्ली। अक्सर आप समाचार पत्र और पत्रिकाओं में दो शब्द एडीआर व जीडीआर का जिक्र पाते हैं। एडीआर व जीडीआर का मतलब क्या है ? यह आइडीआर से किस तरह भिन्न हैं ? बहुराष्ट्रीय कंपनियां पूंजी जुटाने के लिए किस तरह इनका इस्तेमाल करती हैं ? 'जागरण पाठशाला' के इस अंक में रविवार को हम यही समझने का प्रयास करेंगे।

कारपोरेट जगत में पूंजी जुटाने के लिए विभिन्न तरीके अपनाए जाते हैं। ऐसा ही एक प्रचलित तरीका है 'डिपाज़टॉरी रिसीट' जिनके बहुराष्ट्रीय कंपनियां देश के बाहर से विदेशी मुद्रा में वित्तीय संसाधन जुटाती हैं। दअरसल डिपाज़टॉरी रिसीट (डीआर) ऐसी सीक्युरिटी होती हैं जिन्हें भारत से बाहर एक डिपाज़टॉरी बैंक किसी भारतीय कंपनी की तरफ से जारी करता है। ये निगोशिएबल सीक्युरिटी होती है। इसका मतलब यह है कि शेयर या बांड की तरह इनको खरीदा और बेचा जा सकता है।

अमेरिका, सिंगापुर, लग्जमबर्ग, लंदन आदि जगहों पर शेयर बाजार में इनकी खरीद-बिक्री की जाती है। इनका नामकरण भी इस बात पर निर्भर करता है कि ये कहां ADR क्या है जारी किया जा रहा है। मसलन, जब इन्हें अमेरिकी शेयर बाजार में खरीदा-बेचा जाता है तो उसे 'अमेरिकन डिपाज़टॉरी रिसीट' (एडीआर) कहते हैं। हालांकि जब कई देशों में 'डिपाज़टॉरी रिसीट' जारी किए जाते हैं तो 'ग्लोबल डिपाज़टॉरी रिसीट' (जीडीआर) कहते हैं।

इस तरह 'अमेरिकन डिपाज़टॉरी रिसीट' एक ऐसा प्रपत्र है जो किसी विदेशी सीक्युरिटी के बदले में अमेरिका में जारी किया गया है जबकि मूल सीक्युरिटी किसी बैंक या संरक्षक के पास दूसरे देश में रखी होती है। एडीआर को एक उदाहरण के जरिये समझते हैं।

मान लीजिए एक भारतीय कंपनी जैसे इन्फोसिस एडीआर जारी करती है। अमेरिकी शेयर बाजार जैसे न्यूयार्क स्टॉक एक्सचेंज पर कोई भी अमेरिकी निवेश उस एडीआर को खरीद सकता है। एडीआर में निवेश करने वाले उस निवेशक को जो लाभांश प्राप्त होगा उसका भुगतान उसे अमेरिकी डालर में ही मिलेगा। इस तरह भारतीय कंपनियों के लिए एडीआर विदेश से पूंजी जुटाने का माध्यम होता है वहीं अमेरिकी निवेशकों के लिए यह विदेश में जाए बैगर और विदेशी मुद्रा खरीदे बिना ही विदेशी सीक्युरिटी में निवेश करने का जरिया होता है।

अब मान लीजिए उस भारतीय कंपनी को अन्य देशों से भी पूंजी जुटानी है। इसके लिए वह कंपनी 'ग्लोबल डिपाज़टॉरी रिसीट' जारी करती है। असल में जीडीआर ऐसा प्रपत्र होता है जो भारत से बाहर स्थित डिपाज़टॉरी बैंक अनिवासी निवेशकों को जारी करती हैं। जिन देशों में यह जारी किया जाता है वहां के शेयर बाजार पर इसे ट्रेड किया जा सकता है। यह सामान्य शेयर या फॉरिन करेंसी कन्वर्टीबल बांड (एफसीसीबी) जारी करने वाली कंपनी के शेयर के आधार पर जारी किया जाता है। कंपनियां जब यूरो जुटाने के लिए यह तरीका अपनाती हैं तो इसे 'यूरोपियन डिपाज़टॉरी रिसीट' कहते हैं।

इसी तरह अगर कोई विदेशी कंपनी भारतीय शेयर बाजार से पूंजी जुटाना चाहती है तो वह आइडीआर यानी इंडियन डिपाज़टॉरी रिसीट जारी कर सकती है। आइडीआर रुपये में होता है। जो घरेलू डिपाज़टॉरी सेबी (सीक्युरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया) के पास पंजीकृत होती हैं वे उस कंपनी के शेयर के बदले में आइडीआर जारी कर सकती हैं जो भारतीय शेयर बाजार से पूंजी जुटाना चाहती हैं।

इस प्रकार भारतीय कंपनियां एडीआर/जीडीआर के माध्यम से देश के बाहर से विदेशी मु्द्रा में वित्तीय संसाधन जुटा सकती हैं। इनके जरिए विदेशी मु्द्रा देश में आती है। जब भी कंपनियां एडीआर/जीडीआर जारी करती हैं तो वे इसकी सूचना बाकायदा रिजर्व बैंक को देती हैं।

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