एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्या है?

सीबीआईसी ने क्रिप्टो एक्सचेंज से जानकारी मांगी
केंद्रीय अप्रत्यक्ष कर एवं सीमा शुल्क बोर्ड (सीबीआईसी) ने भारत के शीर्ष क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंजों से डिजिटल परिसंपत्तियों, मूल्यांकन आदि का पूरा ब्योरा मांगा है। सीबीआईसी ने डिजिटल सिक्कों के प्रकार, खरीद-फरोख्त वाले टोकन, उनका मूल्यांकन और उन्हें किस प्रकार विभाजित किया जाता है आदि से संबंधित जानकारी मांगी है।
सीबीआईसी क्रिप्टो परिसंपत्तियों को वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) के दायरे में लाना चाहता है। वह क्रिप्टो परिसंपत्ति वर्ग की परिभाषा और वर्गीकरण पर काम कर रहा है ताकि हरेक लेनदेन मूल्य पर कर देयता का निर्धारण हो सके।
इस मामले से अवगत एक वरिष्ठ अधिकारी ने बिज़नेस स्टैंडर्ड से कहा, 'हमने पूरे परिसंपत्ति वर्ग के संबंध में विभिन्न मुद्दों पर विचार-विमर्श के लिए क्रिप्टो एक्सचेंजों के साथ कई बैठकें की हैं। हमने खरीद-फरोख्त में शामिल विभिन्न क्रिप्टो उत्पादों पर एक विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। इसमें लेनदेन शुल्क और उसकी गणना के तरीके के बारे में भी जानकारी देने के लिए कहा गया है।'
अधिकारी ने कहा कि इन डिजिटल उत्पादों के मूल्य एवं लेनदेन के बारे में स्पष्टता से पता लगेगा कि उसके साथ कैसा व्यवहार होना चाहिए और उसे जीएसटी व्यवस्था में किस प्रकार समाहित किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि इससे यह भी निर्धारित करना आसान होगा कि क्रिप्टो उत्पादों पर कर की दरें क्या होनी चाहिए।
क्रिप्टो एक्सचेंजों को इसी महीने ब्योरा देने को कहा गया है। जीएसटी आमतौर पर मार्जिन, सेवा पर देय होता है, न कि पूरे मूल्य पर। सीबीआईसी प्रत्येक क्रिप्टो उत्पाद (सिक्के एवं टोकन) के मूल्य की जांच कर रहा है और यह देखने की कोशिश कर रहा है कि उसका लेनदेन किस प्रकार होता है। यह भी आकलन किया जा रहा है कि परिसंपत्ति वर्ग के पूरे मूल्य को कर के दायरे में लाया जाए अथवा नहीं।
डेलॉयट के पार्टनर एमएस मणि ने कहा, 'विभिन्न क्रिप्टो लेनदेन का वर्गीकरण और उसकी कर देयता निर्धारित करना आवश्यक है क्योंकि यह उद्योग विभिन्न अधिकारियों की अलग-अलग व्याख्या पर निर्भर है। आयकर के लिहाज से भी इन व्याख्याओं में सामंजस्य स्थापित करने की आवश्यकता है।'
गौरतलब है कि क्रिप्टोकरेंसी बाजार में कई प्रकार के टोकन चलन में हैं। इनमें सबसे आम यूटिलिटी और भुगतान टोकन हैं। इनके लिए न तो कोई निवेश किया गया और न ही किसी विनियमन द्वारा गारंटी दी गई है।
फिलहाल क्रिप्टो एक्सचेंजों द्वारा प्रदान की जाने वाली सेवा पर 18 फीसदी जीएसटी लगाया गया है और इसे वित्तीय सेवाओं के रूप में वर्गीकृत किया गया है।
इस बीच, आर्थिक सहयोग एवं विकास संगठन (ओईसीडी) ने क्रिप्टो ऐसेट रिपोर्टिंग फ्रेमवर्क (सीएआरएफ) तैयार किया है। केंद्र सरकार ने क्रिप्टोकरेंसी को प्रत्यक्ष कर प्रणाली के तहत वर्चुअल डिजिटल परिसंपत्ति के तौर पर परिभाषित किया है।
WazirX के बाद ईडी के रडार पर क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज Vauld, जब्त हुई 370 करोड़ रुपए की संपत्ति
ईडी कई ऐसी कंपनियों के खिलाफ कार्यवाही कर रहा है, जो आरबीआई के दिशा-निर्देशों का उल्लंघन कर रही हैं।
क्रिप्टो एक्सचेंज Binance ने WazirX के साथ ऑफ चेन फंड ट्रांसफर बंद किया (फोटो सोर्स: रॉयटर्स)
प्रवर्तन निदेशालय ने गुरुवार को क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज वॉल्ड की 370 करोड़ रुपये की संपत्ति को जब्त कर लिया। यह वित्तीय जांच एजेंसी द्वारा मनी लॉन्ड्रिंग जांच के सिलसिले में क्रिप्टोक्यूरेंसी एक्सचेंज WazirX की संपत्ति को जब्त करने के कुछ ही दिनों बाद आया है। इस बीच वैश्विक क्रिप्टो एक्सचेंज बिनेंस ने सोमवार को कहा कि वह WazirX के साथ ऑफ-चेन फंड ट्रांसफर को बंद कर रहा है, जो अज्ञात वॉलेट में 2,790 करोड़ रुपये की क्रिप्टो संपत्ति के बाहरी प्रेषण के लिए जांच का सामना कर रहा है।
ईडी कई भारतीय गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (एनबीएफसी) कंपनियों और उनके फिनटेक भागीदारों के खिलाफ आरबीआई के दिशानिर्देशों के उल्लंघन में और व्यक्तिगत डेटा का दुरुपयोग करने और अपमानजनक भाषा का उपयोग करने वाले टेली-कॉलर्स का उपयोग करने के लिए एक मनी लॉन्ड्रिंग जांच कर रहा है। यह कंपनियां कर्ज लेने वालों से ऊंची ब्याज दर भी वसूलती हैं।
जांच एजेंसियों का मानना है कि कई फिनटेक कंपनियों में चीनी कंपनियों का निवेश है और इसके लिए वह एनबीएफसी का लाइसेंस नहीं ले सकी हैं। इन कंपनियों ने बंद हो चुकी एनबीएफसी कंपनियों के साथ एमओयू के रास्ते के तहत करार किया। जैसे ही इस मामले की जांच शुरू हुई, भारी मुनाफा कमाने वाली कंपनियों ने अपने कारोबार को बंद कर दिया और कमाए हुए पैसों से क्रिप्टो करेंसी खरीदी और उस पैसे को विदेश भेज दिया।
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जांच में सामने आया है कि कि सबसे ज्यादा पैसों का लेनदेन WazirX के साथ हुआ और खरीदे गए क्रिप्टो एसेट किसी अनाम विदेशी वॉलेट में डाइवर्ट कर दिए गए। ईडी का कहना है कि वजीर क्रिप्टो एक्सचेंज ने अमेरिका, सिंगापुर की कई क्रिप्टो एक्सचेंज कंपनियों के साथ वेब एग्रीमेंट किए। लेकिन अब वजीरएक्स के एमडी निश्चल शेटटी से मिली जानकारी और जैनमई के दावों में अंतर पाया गया है। ईडी ने अपनी जांच का दायरा बढ़ाते हुए कंपनी के बैंक खातों को कुर्क कर दिया है।
जांच एजेंसी ने कुछ दिन पहले बताया था कि उन्होंने 3 अगस्त को हैदराबाद में जानमाई लैब प्राइवेट लिमिटेड के डायरेक्टर और वजीरएक्स के मालिक के खिलाफ छापेमारी की थी। ईडी ने बताया था कि डायरेक्टर ने पूछताछ के दौरान जांच में सहयोग नहीं किया था।
क्रिप्टो मार्केट क्या है? यह शेयर बाजार से कैसे अलग है? (What Is A Crypto Market? How Is It Different From the Stock Market?)
वर्तमान परिदृश्य में क्रिप्टो बाजार प्रचलन में है। ज्यादा लाभ के कारण कई लोगों ने क्रिप्टोकरेंसी में गहरी रुचि दिखाई है। क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग सीएफडी (CFD) अकाउंट के माध्यम से क्रिप्टो की कीमतों में उतार चढ़ाव या क्रिप्टो एक्सचेंजों के माध्यम से क्रिप्टोकरेंसी की खरीद और बिक्री का अनुमान लगाता है। क्रिप्टोकरेंसी बाजार अत्यधिक अस्थिर होता है। इस अस्थिरता के कारण ही इसकी तुलना अक्सर शेयर बाजारों से की जाती है। अक्सर लोग इन दोनों के बीच का अंतर नहीं समझ पाते।
लेकिन चिंता न करें, क्योंकि हमने आपको कवर कर लिया है! यहां शेयर बाजार और क्रिप्टो मार्केट के बीच के अंतर पर एक विस्तृत गाइड दी गई है, इसलिए अगली बार जब आपके मित्र आपके साथ क्रिप्टो के बारे में बात करेंगे तो आपके पास भी अपने विचार होंगे। पढ़ते रहें!
क्रिप्टो बाजार क्या है?
आइए हम आपको बुनियादी बातें बताते हैं। बाजार एक ऐसी जगह है जहां माल का व्यापार, खरीद और बिक्री होती है। तो यह सीधी सी बात है कि क्रिप्टो बाजार एक ऐसा बाजार है जहां क्रिप्टोकरेंसी का कारोबार किया जाएगा। हालांकि, यह थोड़ा अलग है। ये वास्तव में भौतिक रूप से नहीं होते। वे केवल आपकी स्क्रीन पर मौजूद होते हैं और ब्लॉकचेन पर संचालित होते हैं।
क्रिप्टो नेटवर्क विकेंद्रीकृत होते हैं, जिसका अर्थ है कि वे सरकार जैसे किसी केंद्रीय प्राधिकरण द्वारा प्रशासित या समर्थित नहीं होते। बल्कि, वे कंप्यूटर के नेटवर्क पर चलते एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्या है? हैं। हालांकि, क्रिप्टोकरेंसी को क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंजों के माध्यम से खरीदा और बेचा जा सकता है। उन्हें ‘वॉलेट’ में भी स्टोर किया जा सकता है, आप WazirX पर इन दोनों का लाभ उठा सकते हैं।
पारंपरिक मुद्राओं के विपरीत, क्रिप्टोकरेंसी केवल एक ब्लॉकचेन पर संग्रहीत स्वामित्व के साझा डिजिटल रिकॉर्ड के रूप में होती है। जब कोई उपयोगकर्ता किसी अन्य उपयोगकर्ता को क्रिप्टोकरेंसी क्वाइंस भेजना चाहता है, तो वे इसे उनके डिजिटल वॉलेट में भेज देते हैं। लेन-देन को तब तक पूरा नहीं माना जाता जब तक कि इसे माइनिंग के माध्यम से ब्लॉकचेन में सुनिश्चित और संवर्धित नहीं किया जाता है। इस प्रक्रिया का उपयोग नए क्रिप्टोकरेंसी टोकन बनाने के लिए भी किया जाता है।चूंकि हम कई बार ब्लॉकचेन का जिक्र कर रहे हैं, आपके मन में ये सवाल उठ सकता है कि यह ब्लॉकचेन वास्तव में क्या है? क्या आपको लेगो ब्लॉक्स याद हैं जिनके साथ आप बचपन में खेलते थे? उन्हें आपस में जोड़कर आप टावर कैसे बनाते थे?
ब्लॉकचेन भी काफी हद तक यही काम करता है। बस इस मामले में, लेगो ब्लॉक के बदले डेटा के ब्लॉक का उपयोग किया जाता है। ब्लॉकचेन ‘ब्लॉक’ में लेन-देन का दस्तावेजीकरण करता है और चेन के सामने नए ब्लॉक को जोड़ देता है।
पहले यह माना जाता थाकि कि क्रिप्टोकरेंसी अपराधियों और मनी लॉन्ड्रिंग के उपयोग के लिए थी लेकिन अब स्थिति काफी बदल चुकी है। आज यह अनुमान लगाया जा रहा है कि क्रिप्टोकरेंसी गेमिंग उद्योग, मीडिया और यहां तक कि स्वास्थ्य सेवा में भी क्रांति ला सकती है।
हालांकि, क्रिप्टो बाजार शेयर बाजार से काफी अलग है। यदि आप क्रिप्टो बाजार में नौसिखिया हैं, लेकिन स्टॉक में काफी अनुभवी हैं, तो यह आपके लिए एक कठिन क्षेत्र हो सकता है। स्टॉक और क्रिप्टो के बीच सबसे बड़ा अंतर यह है कि इनका मूल्यांकन कैसे किया जाता है। स्टॉक को वैध कंपनियों द्वारा समर्थित किया जाता है जिनसे लाभ कमाने की उम्मीद की जाती है। वे अपने मूल्यांकन के हिस्से के रूप में भौतिक संपत्ति को शामिल करते हैं। वास्तव में, यदि आप गणित में अच्छे हैं तो आप शेयरों की कीमत का अनुमान लगा सकते हैं।
दूसरी ओर, क्रिप्टोकरेंसी ज्यादातर मामलों में संपत्ति द्वारा समर्थित नहीं होती हैं। उनका अनुमान ज्यादातर उनके प्रचार के आधार पर लगाया जाता है, हालांकि कुछ को उनकी कार्यक्षमता के आधार पर भी मूल्य वृद्धि मिलती है। नतीजतन, यह एक अधिक व्यक्तिपरक मूल्यांकन है। इसलिए, यह भविष्यवाणी करना हमेशा आसान नहीं होता है कि कोई विशेष मुद्रा इसके लायक है या नहीं।
शेयर बाजार और क्रिप्टो मार्केट में अंतर
ऊपर बताए गए मूल्यांकन में अंतर के अलावा, दोनों बाजारों के बीच कई अन्य मूलभूत अंतर हैं। आइए उनकी चर्चा करें।
#1 विकेंद्रीकृत बनाम केंद्रीकृत एक्सचेंज
जैसा कि पहले उल्लेख किया गया है, क्रिप्टोकरेंसी विकेंद्रीकृत होते हैं, जबकि स्टॉक केंद्रीकृत संरचना के तहत होते हैं। इसका मतलब है कि क्रिप्टो संचालन और लेनदेन किसी केंद्रीय बैंक या किसी अन्य केंद्रीय प्राधिकरण द्वारा नियंत्रित नहीं होते। यह विकेंद्रीकरण क्रिप्टो उपयोगकर्ताओं को अत्यधिक पारदर्शिता और नियंत्रण प्रदान करता है। हालांकि, स्टॉक और क्रिप्टो द्वारा अर्जित लाभ कर के अधीन होते हैं।
इस अनियमित प्रकृति का एक नुकसान यह है कि क्रिप्टो बाजार में धोखाधड़ी का खतरा अधिक हो सकता है। भारत में शेयर बाजार केंद्रीकृत विनियमन के तहत काम करता है। यह कुप्रबंधन और धोखाधड़ी को रोकने के लिए भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) और भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI) द्वारा विनियमित होता है।
#2 अस्थिरता
स्टॉक और क्रिप्टोकरेंसी दोनों को कभी-कभी एक जैसा माना जाता है क्योंकि ये बाजार परिवर्तन के अधीन होते हैं। हालांकि, उनकी अस्थिरता बहुत अलग होती है। क्रिप्टो एक्सचेंज एक अत्यधिक आकर्षक ट्रेडिंग विकल्प है क्योंकि उभरते बाजार के कारण इसमें ज्यादा जोखिम होता है।
यह क्रिप्टो बाजार को बेहद अस्थिर बनाता है एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्या है? और इसके कारण त्वरित और उच्च लाभ भी होता है। इसकी तुलना में, शेयर बाजार अत्यधिक स्थिर, कुछ अर्थों में पारंपरिक भी होता है और विविध व्यापारिक विकल्प प्रदान करता है। शेयर बाजार में निवेश पर लाभ का अनुमान करना अपेक्षाकृत आसान होता है।
#3 लाभ को नियंत्रित करने वाले कारक
शेयर बाजार और क्रिप्टो मार्केट दोनों ही मांग और आपूर्ति द्वारा नियंत्रित होते हैं। हालांकि, इस मांग और आपूर्ति को प्रभावित करने वाले प्रमुख कारक अलग-अलग होते हैं। शेयर बाजार राजनीतिक स्थिति, स्टॉक से संबंधित कंपनी के बारे में समाचार, प्राकृतिक आपदाओं आदि द्वारा प्रभावित होता है।
दूसरी ओर, क्रिप्टो की कीमतें आम तौर पर इसकी चर्चा द्वारा नियंत्रित होती हैं। हम आपको एक निष्पक्ष चेतावनी दें, कि यह एलोन मस्क के ट्वीट की तरह साधारण भी हो सकता है। कभी-कभी क्रिप्टोकरेंसी के मूल्य में उतार-चढ़ाव इसकी कार्यक्षमता पर भी निर्भर करता है।
निष्कर्ष
स्वाभाविक रूप से, लोग अपने पैसे को बढ़ाने के लिए एक अच्छे स्रोत में निवेश करना चाहते हैं। सभी तरह के निवेश विकल्प में कुछ निश्चित जोखिम होते ही हैं। हालांकि, प्रत्येक निवेश अस्थिरता के मामले में भिन्न होता है, और कुछ बड़े पैमाने पर आर्थिक आघात को आसानी से झेल सकते हैं।
इसी कारण, क्रिप्टोकरेंसी और शेयर बाजार 21 वीं सदी में शीर्ष निवेश विकल्प के रूप में उभरे हैं। इसने क्रिप्टो मार्केट बनाम शेयर बाजार पर एक बड़ी बहस को प्रेरित किया है। कोई भी अपनी जोखिम क्षमता के आधार पर, दोनों में से किसी में या दोनों में निवेश करना चुन सकता है। आप कई लोकप्रिय क्रिप्टो एक्सचेंजों को देखकर क्रिप्टो में सुरक्षित रूप से निवेश कर सकते हैं, WazirX उनमें से एक है।
अन्य लेख:
अस्वीकरण: क्रिप्टोकुरेंसी कानूनी निविदा नहीं है और वर्तमान में अनियमित है। कृपया सुनिश्चित करें कि आप क्रिप्टोकरेंसी का व्यापार करते समय पर्याप्त जोखिम मूल्यांकन करते हैं क्योंकि वे अक्सर उच्च मूल्य अस्थिरता के अधीन होते हैं। इस खंड में दी गई जानकारी किसी निवेश सलाह या वज़ीरएक्स की आधिकारिक स्थिति का प्रतिनिधित्व नहीं करती है। वज़ीरएक्स अपने विवेकाधिकार में इस ब्लॉग पोस्ट को किसी भी समय और बिना किसी पूर्व सूचना के किसी भी कारण से संशोधित करने या बदलने का अधिकार सुरक्षित रखता है।
Crypto Crash: क्रिप्टो एक्सचेंज में इतनी बड़ी गिरावट की क्या है वजह? जानिए
क्रिप्टोकरेंसी की दुनिया में यह इतने बड़े पैमाने पर हुई कोई पहली गिरावट नहीं है. बचाव की राह मुश्किल एफटीएक्स और अल्मेडा दोनों एक्सचेंज का बहुलांश स्वामित्व रखने वाले सैम बैंकमैन-फ्राइड ने इस साल की शुरुआत में अन्य बदहाल क्रिप्टो कंपनियों को मुश्किल से उबारा था.
Crypto Crash Reason: अधिक समय नहीं हुआ जब एफटीएक्स दुनिया के सबसे बड़े क्रिप्टोकरेंसी ट्रेडिंग मंचों में से एक था. वर्ष 2019 में स्थापित इस क्रिप्टो एक्सचेंज में बड़ी तेजी से बढ़ोतरी हुई और वर्ष 2022 की शुरुआत में इसका मूल्य 30 अरब डॉलर तक पहुंच गया था. लेकिन पिछले दो हफ्तों में पूरी तस्वीर ही बदल चुकी है.
सबसे पहले एफटीएक्स और परिसंपत्ति-व्यापार फर्म अल्मेडा रिसर्च के संबंधों को लेकर चिंताएं सामने आयीं. इस दौरान ग्राहकों के पैसे को एफटीएक्स से अल्मेडा में स्थानांतरित किये जाने की चर्चाएं भी शामिल हैं.
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कुछ दिनों बाद सबसे बड़े क्रिप्टो एक्सचेंज और एफटीएक्स के प्रतिद्वंद्वी बिनेंस ने ऐलान किया कि वह एफटीटी टोकन की अपनी होल्डिंग को बेच देगी. इससे घबराये ग्राहक एफटीएक्स से धन निकालने के लिए दौड़ पड़े और यह एक्सचेंज अब पतन के कगार पर पहुंच चुका है. इसकी वेबसाइट पर यह संदेश भी जारी कर दिया गया है कि वह वर्तमान में निकासी की प्रक्रिया में असमर्थ है.
हालांकि क्रिप्टोकरेंसी की दुनिया में यह इतने बड़े पैमाने पर हुई कोई पहली गिरावट नहीं है. बचाव की राह मुश्किल एफटीएक्स और अल्मेडा दोनों एक्सचेंज का बहुलांश स्वामित्व रखने वाले सैम बैंकमैन-फ्राइड ने इस साल की शुरुआत में अन्य बदहाल क्रिप्टो कंपनियों को मुश्किल से उबारा था.
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लेकिन अब वह अपनी कंपनियों को बचाने के लिए आठ अरब डॉलर का निवेश करने वाले की तलाश में हैं. लेकिन कई फर्मों के पहले ही एफटीएक्स में अपनी हिस्सेदारी को बट्टे खाते में डाल देने से बैंकमैन-फ्राइड के लिए इच्छुक निवेशकों को ढूंढना आसान नहीं होगा.
बिनेंस ने इस क्रिप्टो एक्सचेंज का अधिग्रहण करने के बारे में सोचा लेकिन आखिर में उसका फैसला नकारात्मक ही रहा. इसने कदाचार के आरोपों और अमेरिकी प्रतिभूति एवं विनिमय आयोग की जांच से जुड़ी चिंताओं को देखते हुए अपने कदम पीछे खींच लिये. ऐसी स्थिति में अब एफटीटी की कीमत बहुत गिर गई है.
एक हफ्ते पहले यह 24 डॉलर पर कारोबार कर रहा था लेकिन अब यह चार डॉलर से भी नीचे आ गया है. सावधानी का सबक सही तरह से विनियमित नहीं हो रहे एक्सचेंजों पर बिना किसी अंतर्निहित मौलिक मूल्य के 'परिसंपत्तियों' में व्यापार करना हमेशा एक बहुत ही जोखिम भरा प्रयास होता है.
कई लोगों के लिए यह नुकसान का सौदा बन सकता है. क्रिप्टो से अलग तरह की परिसंपत्तियों का मामला अलग होता है. आम कंपनी के शेयरों का एक बुनियादी मूल्य होता है जो कंपनी के मुनाफे से भुगतान किये गए लाभांश पर आधारित होता है. रियल एस्टेट का भी एक आधारभूत मूल्य होता है, जो निवेशक को मिलने वाले किराये या उस पर उसके भौतिक कब्जे को दर्शाता है.
एक बांड का भी मूल्य उस पर मिलने वाले ब्याज की राशि पर निर्भर करता है. यहां तक कि सोने का भी कुछ व्यावहारिक उपयोग होता है. लेकिन बिटकॉइन, ईथर और डॉजकॉइन जैसी कथित क्रिप्टो मुद्राओं का ऐसा कोई बुनियादी मूल्य नहीं होता है. वे पार्सल आगे बढ़ाने वाले खेल की तरह हैं, जिसमें सट्टेबाज कीमत गिरने से पहले उन्हें किसी और को बेचने की कोशिश करते हैं.
क्रिप्टो पर प्रभाव इन घटनाओं ने क्रिप्टो पारिस्थितिकी तंत्र में विश्वास को और कम कर दिया है. इस नयी घटना से पहले ही क्रिप्टो-मुद्राओं का 'मूल्य' तीन लाख करोड़ डॉलर के उच्च स्तर से गिरकर एक लाख करोड़ डॉलर पर आ गया था. अब तो यह और भी नीचे गिर गया है.
जिस तरह इंटरनेट आधारित कारोबार में अमेजन जैसी कुछ कंपनियां ही दिग्गज बन पाई हैं, उसी तरह यह संभव है कि क्रिप्टो की रूपरेखा तय करने वाली ब्लॉकचेन तकनीक पर निर्भर केवल कुछ कंपनियां ही स्थायी तौर पर उपयोगी साबित हों.
मुद्रा के इलेक्ट्रॉनिक स्वरूप के विचार को केंद्रीय बैंक डिजिटल मुद्रा की शक्ल में अब अपनाया जा रहा है. लेकिन बैंक ऑफ इंटरनेशनल सेटलमेंट्स के मुख्य अर्थशास्त्री ह्यून सोंग शिन के शब्दों में कहें तो 'क्रिप्टो से जो कुछ भी किया जा सकता है वह केंद्रीय बैंक के पैसे से बेहतर किया जा सकता है.
('द कंवरसेशन' में प्रकाशित इस लेख को जॉन हॉकिंस ने लिखा है, जो कैनबरा यूनिवर्सिटी के कैनबरा स्कूल ऑफ पॉलिटिक्स, इकोनॉमिक्स एंड सोसाइटी में वरिष्ठ व्याख्याता हैं.)
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देश भर में क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज पर DGGI की नकेल, 70 करोड़ रुपये की कर चोरी का खुलासा
क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज वजीरएक्स (WazirX) द्वारा जीएसटी की बड़े पैमाने पर कर चोरी के बाद, जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय ने देश में संचालित क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंजों पर बड़ी कार्रवाई की है। सूत्रों ने.
क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज वजीरएक्स (WazirX) द्वारा जीएसटी की बड़े पैमाने पर कर चोरी के बाद, जीएसटी इंटेलिजेंस महानिदेशालय ने देश में संचालित क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंजों पर बड़ी कार्रवाई की है। सूत्रों ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया, "क्रिप्टोकरेंसी सेवा प्रदाताओं के लगभग आधा दर्जन दफ्तरों की तलाशी ली गई है और डीजीजीआई द्वारा बड़े पैमाने पर माल और सेवा कर (जीएसटी) चोरी का पता चला है।" क्रिप्टो वॉलेट और एक्सचेंज ऐसे प्लेटफॉर्म हैं जहां मार्चेंट और कस्टमर बिटकॉइन, एथेरियम, रिपल आदि जैसी डिजिटल संपत्ति के साथ लेनदेन कर सकते हैं।
इन क्रिप्टो एक्सचेंजों की हो रही जांच
सूत्रों के अनुसार, मुंबई सीजीएसटी और डीजीजीआई द्वारा क्रिप्टोक्यरेंसी ट्रेड पर कार्रवाई के दौरान लगभग 70 करोड़ रुपये की कर चोरी का पता चला है। सूत्रों ने कहा, "डीजीजीआई मैसर्स बिटसिफर लैब्स एलएलपी के कॉइनस्विच कुबेर, मेसर्स नेब्लियो टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड के कॉइनडीसीएक्स, मेसर्स आई ब्लॉक टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड के बाययूकॉइन और मैसर्स यूनोकॉइन टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड के यूनोकॉइन की जांच कर रहा है।"
जीएसटी नहीं दे रहे थे ये एक्सचेंज
आधिकारिक सूत्रों ने आगे कहा, "वे (कंपनियां) क्रिप्टो कॉइन की खरीद और बिक्री के लिए मध्यस्थ सेवाएं प्रदान कर रहे हैं। इन सेवाओं पर 18 प्रतिशत जीएसटी की दर से जीएसटी लगता है, जिससे ये सभी बचते रहे हैं।" एक अन्य आधिकारिक सूत्र, जो इस सर्च का हिस्सा था, ने एएनआई को बताया, "ये सेवा प्रदाता बिटकॉइन के आदान-प्रदान में शामिल होने की सुविधा के लिए एक कमीशन ले रहे थे, लेकिन जीएसटी कर का भुगतान नहीं कर रहे थे। इन लेनदेन को डीजीजीआई एक क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज क्या है? द्वारा इंटरसेप्ट किया गया था और उन्हें सबूत के साथ पकड़ा गया है। यह साबित हुआ कि जीएसटी का भुगतान नहीं हो रहा है।"
वजीरएक्स ने की 40.5 करोड़ रुपये की जीएसटी चोरी?
एक शीर्ष सूत्र ने एएनआई को बताया कि इन कंपनियों ने जीएसटी कानून के वैधानिक प्रावधानों का पालन न करने के लिए जीएसटी, ब्याज और जुर्माना के रूप में 30 करोड़ रुपये और 40 करोड़ रुपये का भुगतान किया। जीएसटी कानूनों का उल्लंघन करने के लिए सीबीआईसी ने वजीरएक्स सहित क्रिप्टोक्यरेंसी सेवा प्रदाताओं से 70 करोड़ रुपये वसूल किए हैं। शुक्रवार को मुंबई जोन के जीएसटी मुंबई ईस्ट कमिश्नरेट ने क्रिप्टोकरेंसी एक्सचेंज वजीरएक्स से 40.5 करोड़ रुपये की जीएसटी चोरी का पता लगाया और जीएसटी चोरी, ब्याज और जुर्माना से संबंधित नकद में 49.20 करोड़ रुपये की वसूली की।